L19/Ranchi : राजधानी रांची के सिवरेज-ड्रेनेज योजना के सलाहकार चयन मामले में बरती गयी अनियमितता को लेकर झारखंड हाईकोर्ट में विधायक सरयू राय की तरफ से दर्ज याचिका पर सुनवाई हुई। मैनहर्ट घोटाला मामले में एंटी करप्शन ब्यूरो में दर्ज प्रीलिमिनरी इनक्वायरी (पीइ) की रिपोर्ट अब तक नहीं आने और प्राथमिकी दर्ज नहीं किये जाने को लेकर हाईकोर्ट में याचिका दर्ज की गयी थी। हाईकोर्ट में एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) के एसपी सशरीर उपस्थित हुए। उनकी तरफ से पीइ की रिपोर्ट कोर्ट को दी गयी।
कोर्ट ने पीइ रिपोर्ट का अध्य्यन करने के बाद एसीबी एसपी को आगे की कार्रवाई करने के संबंध में हलफनामा प्रस्तुत करने को कहा। हलफनामा दाखिल करने के लिए एक महीने की मोहलत दी गयी। न्यायमूर्ति एसके द्विवेदी की कोर्ट ने मामले की अगली तिथि तीन अक्तूबर तय की है। सुनवाई के दौरान एसीबी की तरफ से बताया गया कि मैनहर्ट सिंगापुर प्राइवेट लिमिटेड को सलाहकार नियुक्त करने का फैसला मंत्रिपरिषद की सहमति के बाद लिया गया था। ऐसे में प्रारंभिक जांच की कार्रवाई करने को लेकर विधि विभाग से राय मांगी गयी है।
राज्य सरकार की तरफ से अधिवक्ता मनोज कुमार और दीपांकर ने दलीलें प्रस्तुत की, वहीं याचिकाकर्ता की तरफ से एके कश्यप ने पैरवी की। पिछली सुनवाई में राज्य सरकार द्वारा अस्पष्ट सीलबंद रिपोर्ट दाखिल करने पर एसीबी के एसपी को फिजिकली एपीयर होने का आदेश दिया गया था। कोर्ट में यह बताया गया था कि दिसंबर 2020 में एसीबी ने पीइ दर्ज की थी। कोर्ट को यह भी बताया गया था कि सरकार ने अपने एफीडेविट में कहा था कि लीगल ओपिनियन मांगा गया है, जो एक साल से लंबित है। विधायक सरयू राय ने मैनहर्ट सिंगापुर प्राइवेट लिमिटेड को झारखंड में डीपीआर बनाने का काम दिये जाने पर 21 करोड़ के घोटाले का आरोप लगाया था।