L19/Giridih : सदर अस्पताल में 20 अप्रैल को देर तक हाई वोल्टेज ड्रामा देखने को मिल रहा है। मरीज और डॉक्टर के बीच आपसी बहस के बाद ओपीडी में रखा रजिस्टर फाड़ दिया गया। डॉ राजीव कुमार ड्यूटी पर थे, इसी दौरान गद्दी मोहल्ला का फिरदौस आज़म बस स्टैंड में झगड़ा कर घायल अवस्था में इलाज कराने सदर अस्पताल पहुंचा। जब डॉ राजीव कुमार ने फिरदौस से पिता का नाम पूछा, तो उसी में वह आगबबूला होकर टेबल पर रखी ओपीडी रजिस्टर फाड़ कर बदतमीजी पर उतारू हो गया। अस्पताल के उपाधीक्षक ने डॉ एपीएन देव कार्यस्थल पहुंच कर मामले को शांत कराते हुए पुलिस को सूचना दी। इस बीच चिकित्सक के समर्थन में स्वास्थ्य कर्मियों ने कुछ देर तक काम बंद कर दिया। थाना प्रभारी फिरदौस का इलाज व एक्स-रे कराने के बाद उसे हिरासत में लेकर नगर थाना ले गये।
हिरासत में लेते ही फिरदौस जमकर हंगामा करने लगा। ओपीडी से निकलते ही रोड पर लेट कर हिरासत का विरोध करने लगा। थाना प्रभारी आरएन चौधरी के निर्देश पर जवानों ने फिरदौस का हाथ पैर पकड़ थाना ले गई। इसी बीच फिरदौस के साथ आए दो युवकों में एक फरार हो गया। वहीं मोनू रेन को भी पुलिस अपने साथ ले गई।
डॉ राजीव कुमार ने कहा कि फिरदौस जब इलाज कराने आया, तब ओपीडी में भीड़ थी। इसी बीच फिरदौस दो युवकों के साथ आया और पहले इलाज कराने की बात कहने लगा। जब उससे कहा गया कि लाइन से आएं तो, वह आगबबूला हो उठा और टेबल पर रखी रजिस्टर फाड़कर देख लेने की धमकी देने लगा। वह स्वास्थ्य कर्मियों से भी नोकझोंक करने लगा। हंगामा सुनकर कई स्वास्थ्य कर्मी आ गए और बीच बचाव करने लगे।
मामले को लेकर अस्पताल के उपाधीक्षक ने कहा कि मरीज हमलावर हो जाए, तो चिकित्सकों की सुरक्षा की गारंटी कौन लेगा? गौरतलब है, पूर्व में यहां सिविल सर्जन पर भी घातक हमले हो चुके हैं। मामले पर जिला प्रशासन से सुरक्षा की मांग की गयी। नगर थाना प्रभारी ने कहा कि मामले को गंभीरता से लिया गया है। अस्पताल में इस तरह का हंगामा बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। दोषी युवक पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।