L19 DESK : राज्य के 9 जिलों में फाइलेरिया उन्मूलन के लिए मास ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन एमडीएम चलाया जा रहा है। 16 अगस्त से घर-घर जाकर लोगों को फाइलेरिया रोधी दवा दी जा रही है। यह अभियान 25 जुलाई तक चलेगा। बता दें कि अभियान की शुरुआत 10 अगस्त को हुई थी। इसके तहत स्वास्थ्य विभाग की टीम 14 अगस्त तक बूथ पर दवा दी गई। बुधवार से घर-घर जाकर दवा का सेवन कराया जा रहा है। घर-घर जाकर दवा देने के साथ-साथ फाइलेरिया बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक भी किया जा रहा है। अपर मुख्य सचिव अरुण कुमार सिंह ने कहा है कि सभी 9 जिलों में से हजारीबाग और पश्चिमी सिंहभूम जिलों में 2 दवाओं डीईसी और अल्बेंडाजोल दी जा रही है।
चतरा, लातेहार, पलामू, सरायकेला, गोड्डा, दुमका और जामताड़ा जिलों में डीईसी, अल्बेंडाजोल के साथ आईवरमेंक्टिन की निर्धारित खुराक दवा प्रशासकों द्वारा बूथ और घर-घर जाकर अपने सामने मुफ्त में खिलाई जाएगी। उन्होंने बताया कि ये दवाएं पूरी तरह सुरक्षित हैं। यह दवा 2 साल से कम उम्र के बच्चों, गर्भवती महिलाओं और गंभीर रूप से बीमार व्यक्तियों को नहीं दी जाएंगी। झारखंड में अप्रैल 2023 के आंकड़ों के अनुसार लिम्फेडेमा के 54172 मरीज और हाइड्रोसील के 40561 मरीज चिन्हित किए गए हैं। इस कार्यक्रम की निगरानी के लिए पर्यवेक्षकों को भी लगाया गया है, और किसी भी विषम परिस्थितियों से निपटने के लिए डॉक्टर के नेतृत्व में जिला एवं ब्लॉक स्तर पर रेपिड रेस्पान्स टीमों का भी गठन किया गया है।