L19 DESK : झारखंड के अधिकतर जिलों में 108 एंबुलेंस सेवा पूरी तरह से ठप है। एंबुलेंस कर्मियों को चार महीने से सैलरी नहीं मिलने से परेशान हैं और अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गये हैं। नतीजतन करीब 600 मरीजों को एंबुलेंस की सेवा बुधवार को नहीं मिली। उन सभी को खुद से व्यवस्था कर अस्पताल जाना पड़ा। अधिकतर मरीज निजी गाड़ियों से अस्पातल पहुंचे. वहीं कई मरीज गंभीर स्थिति में अपने जुगाड़ से इलाज के लिए रिम्स, सदर सहित अन्य सरकारी अस्पतालों में पहुंचे। 108 एंबुलेंस कॉल करने के पंद्रह से बीस मिनट के अंदर मरीज के पास पहुंचती है।
हड़ताल होने के कारण मरीजों को एंबुलेंस मिलने में एक घंटे तक का समय लगा। चिकित्सा हेल्थकेयर वर्तमान में 108 एंबुलेंस सेवा का संचालन कर रही है। निविदा के तहत किसी अन्य एजेंसी को दे दिया गया है। कंपनी बदलने के कारण कर्मियों में यह संशय है कि उन्हें उनके बकाये वेतन का भुगतान कंपनी करेगी या नहीं। वहीं उन्हें इस बात का भी डर है कि उन्हें दूसरी कंपनी काम के लिए अपने एजेंसी में रखेगी या नहीं।
108 एंबुलेंस के कारण मरीजों को परेशानी नहीं हो, इसके लिए सरकार ने 206 नये एंबुलेंस की खरीदारी की थी। 5 जुलाई को इसका उद्घाटन किया गया। नई एजेंसी ईएमआरआई ग्रीन हेल्थ सर्विसेस को परिचालन की जिम्मेवारी दी गयी है। मैनपावर बहाल करने और अन्य जरूरी कामों का हवाला देते हुए कंपनी ने अबतक परिचालन शुरू नहीं किया है।