L19 DESK : झारखंड विधानसभा में नयी शराब नीति के तहत राजस्व वसूली का मामला गुंजा । भाजपा के सचेतक विरंची नारायण ने मामला उठाते हुए कहा कि हेमंत सोरेन सरकार ने छत्तीसगढ़ स्टेट मार्केटिंग कारपोरेशन लिमिटेड (सीएसएमसीएल) को सलाहकार बना कर नयी उत्पाद नीति लागू की । नयी उत्पाद नीति मई 2022 में लागू की गयी, उस समय राजस्व वसूली का लक्ष्य 25 सौ करोड़ रुपये रखा गया था । इस लक्ष्य के विरुद्ध 1607 करोड़ रुपये ही वसूले गये. भाजपा विधायक ने नयी शराब नीति लागू करने की जांच की मांग सीबीआइ से कराने की बातें कहीं ।
उन्होंने कहा कि कौन लोग राजस्व वसूली से लेकर नयी शराब नीति लागू कराने में हिस्सेदार रहे हैं, इसका खुलासा किया जाये । यह बड़े घोटाले की तरह है । इस पर प्रभारी मंत्री मिथिलेश ठाकुर ने कहा कि सरकार ने पूरी पारदर्शिता से नयी उत्पाद नीति लागू की है. सरकार को अब तक 19 सौ करोड़ का राजस्व मिल चुका है । इस बार हमलोग राजस्व वसूली का कीर्तिमान बनाने जा रहे हैं । इस पर निर्दलीय विधायक सरयू राय ने कहा कि राजस्व वसूली का टार्गेट सरकार ने 2000 करोड़ कैसे कर दिया, यह जांच की विषय है । उन्होंने कहा कि सरकार को इस पर जवाब देना चाहिए। भाजपा विधायक भानू प्रताप शाही ने कहा कि सरकार को विधानसभा की कमेटी से पूरे मामले की जांच करानी चाहिए ।
स्पीकर रवींद्र नाथ महतो ने हस्तक्षेप करते हुए कहा कि प्रश्नकर्ता सीबीआइ जांच की मांग कर रहे हैं और आप विधानसभा की कमेटी से जांच की मांग कर रहे हैं । पहले आप तय कर लें । प्रभारी मंत्री मिथिलेश ठाकुर ने कहा कि शराब नीति लागू करने में किसी तरह की कोई गड़बड़ी नहीं की गयी है । गड़बड़ी का साक्ष्य दें पहले । सरकार ने सोंच समझ कर नयी नीति लागू की है । यदि प्लेसमेंट एजेंसियों की तरफ से राजस्व वसूली में किसी भी तरह की कोई कमी की जायेगी, तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जायेगी। वैसे भी प्लेसमेंट एजेंसियों के खिलाफ सर्टिफिकेट केस करने का निर्णय लिया जा चुका है।