l19/DESK : वन पट्टा हेमंत सरकार की एक महत्वकांक्षी योजना है जिसे धरातल पर उतारा जा रहा है लेकिन वन अधिकार पट्टा देने में वन विभाग के अधिकारी रोड़े अटका रहे हैं। इस मामले की गंभीरता को देखते हुए अब वन विभाग की ओर से कार्रवाई भी शुरु की है। इस संबंध में रविवार को वन विभाग के 6 अफसरों का तबादला किया गया, जिसमें सिमडेगा के डीएफओ रोशन कुमार भी है। रोशन कुमार को सिमडेगा से हटाते हुए सरकार ने कोडरमा भेज दिया है।
बताते चलें कि सीएफआरआर और सीएफआर की 41 दावों की स्वीकृति के लिए उपायुक्त सहित सभी सदस्य तो तैयार हो गये, लेकिन डीएफओ रोशन कुमार ने अड़ंगा लगा दिया। वे बार-बार कहने लगे कि लोगों को सामुदायिक वन अधिकार पट्टा दे सकते हैं, लेकिन सीएफआरआर नहीं दे सकते, इससे तो पूरा जंगल ही उजड़ जाएगा, इसका प्रभाव 20 साल बाद देखने को मिलेगा। उन्होंने कहा था कि हम लोगों को वनों पर अधिकार नहीं दे सकते, क्योंकि जिन्हें पट्टा मिलेगा, तो वे जंगल को उजाड़ देंगे, वे लोग वनों का वैज्ञानिक प्रबंध नहीं जानते हैं। डीएफओ की अड़ंगेबाजी का मामला यहीं नहीं रुका,उन्होंने दबंगई दिखाते हुए डीएलसी का अगले मिनट तैयार कराकर कुछ अधिकारियों से हस्ताक्षर भी करा लिया। जब वरीय अधिकारियों को मामले की जानकारी मिली, तो इसमें हस्ताक्षेप करते हुए यह पूरा मामला तूल न पकड़े इसलिए सरकार ने एक्शन लेते हुए डीएफओ सिमडेगा को कोडरमा भेज दिया है।