L19 DESK : झारखंड की राजधानी में शराब कारोबारियों पर नकेल कसने की कोशिशें नाकाफी साबित हो रही हैं । राजधानी के तरंगिनी बॉटलर्स में रविवार 19 मार्च को छापेमारी की गयी थी। ओरमांझी के पास अवस्थित तरंगिनी बॉटलर्स के कर्ता-धर्ता राष्ट्रीय जनता दल के पूर्व विधान पार्षद सुबोध राय हैं । पर इनके प्लांट में देश की नामी-गिरामी कंपनी रेडिको खेतान प्राइवेट लिमिटेड के विभन्न ब्रांडों का शराब ब्लेंड किया जा रहा है। रेडिको खेतान प्राइवेट लिमिटेड जून 2022 से दो वर्ष के समझौते के तहत शराब का उत्पादन कर उसे झारखंड के बाजार में उपलब्ध करा रही है । रेडिको खेतान प्राइवेट लिमिटेड का सारा काम केमिस्ट प्रमोद पांडेय देख रहे हैं। प्रमोद पांडेय इससे पहले बिहार में थे
बिहार के बाद रांची आये हैं। शराब निर्माण के विभिन्न ब्लेंड को बनाने में इन्हें महारत हासिल है। बिहार में शराबबंदी होने के बाद रांची में आकर इनका कारोबार अब धड़ल्ले से चल रहा है।
19 मार्च के अलावा 20 मार्च को भी उत्पाद विभाग की टीम जांच करने तरंगिनी बॉटलर्स में गयी थी। सहायक आयुक्त राकेश कुमार और अन्य ने वहां पर जाकर जांच की । लोकतंत्र 19 ने सहायक आयुक्त राकेश कुमार से यह जानना चाहा कि आपने क्या जांच की, क्या पाया । इस पर सहायक आयुक्त ने कहा कि हमने जांच के क्रम में स्टाक वेरीफिकेशन, स्टाक, उत्पादन रजिस्टर और कागजात की मांग की । ये रजिस्टर जांच दल को नहीं दी गयी । उन्होंने कहा कि तरंगिनी बॉटलर्स परिसर में एसी ब्लैक के 150 से अधिक पेटियां बरामद की गयी थीं।
इसके अलावा अरिस्टोक्रैट के विभिन्न ब्रांडों के खाली बॉटल रैपर और अन्य दस्तावेजों को भी जब्त किया गया । सबसे बड़ा सवाल यह उठता है कि परिसर में एसी ब्लैक की ब्लेंडिंग किसके आदेश पर की जाती थी, जबकि समझौता रेडिको खेतान प्राइवेट लिमिटेड से किया गया । इसके अलावा रेडिको खेतान के 8 पीएम, रामपुर इंडियन सिंगल माल्ट, 8 पीएम हनी, 8 पीएम फायर, रेडिको गोल्ड ह्वीस्की, क्राउन ह्वीस्की, अफ्टर डार्क, मैजिक मोमेंट्स वोदका, 8 पीएम एक्सीलेंसी ब्रांडी, मोरफियस, जेसलमेर इंडियन क्राफ्ट जीन, कंटेसा रम का उत्पादन धड़ल्ले से रांची के तरंगिनी बाटलर्स में किया जा रहा था। इसका यह मतलब है कि तंरगिनी बॉटलर्स और रेडिको खेतान प्राइवेट लिमिटेड के वरीय अधिकारियों की मिलीभगत रही होगी । तरंगिनी बॉटलर्स और रेडिको खेतान के बीच हुए समझौते का भी सार्वजनिक होना जरूरी है। वैसे उत्पाद विभाग की ओर से तरंगिनी बॉटलर्स को सील तो कर दिया गया है, अभी अग्रेतर कार्रवाई की जानी बाकी है।