L19 DESK : ठंड के दिनों में घूमने फिरने का सबसे अच्छा मौका होता है। बाकि मौसमों के मुकाबले ठंड का मौसम टूरिज्म के लिये बेहतर माना जाता है। इस ठंड की छुट्टियों में झारखंड टूरिज्म का अगर प्लैन बना रहे हैं तो हम आपको बताते हैं झारखंड का वह शहर जहां की वादियां आपको मंत्रमुग्ध कर देंगी। राज्य में ऐसे तो कई जगहें हैं जो बेहद खूबसूरत हैं, इन्हीं में से एक है पतरातू घाटी। यह रांची से कुछ ही दूरी पर रामगढ़ जिले में बसा हुआ है।
हरियाली से भरपूर है पतरातू घाटी
पतरातू घाटी को खास तौर से सैलानियों के लिये ही डिजाइन किया गया है। इसे बहुत ही आकर्षक ढंग से बनाया गया है। यह हरे भरे जंगलों से घिरा हुआ एक घुमावदार घाटी है। सचमुच एक सपने की तरह। यहां की हरियाली आपको मंत्रमुग्ध करने के लिये काफी है। घाटी की ऊंचाई 1300 फीट से भी अधिक है, जिसके वजह से यह पिकनिक स्पॉट के लिये बेस्ट ऑपशन है। पतरातू घाटी को सर मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया की देखरेख में आसपास के कस्बों और गांवों की पानी की जरूरतों की आपूर्ति के लिए बनाया गया था।यहां आपको शांतिपूर्ण वातावरण का अनुभव होगा।
बोटिंग और साईबेरियन पक्षियों का आनंद उठाने के लिये पतरातू डैम है बेस्ट
पतरातू घाटी क्रॉस करने के बाद पतरातू डैम आता है। यह डैम 3 ओर से पहाड़ियों से घिरा हुआ है। ठंड के दिनों में इसकी खूबसूरती में चार चांद लग जाते हैं। यहां आप बोटिंग का आनंद ले सकते हैं। साथ ही साइबेरियन पक्षियों को देखने का मजा ही कुछ और होता है। ये साइबेरियन पक्षी नवंबर से लेकर मार्च महीने तक पतरातू डैम में अपनी खूबसूरती से पर्यटकों को मोहित करते हैं। नलकार्नी बांध भी कहा जाता है जो पहाड़ों पर बने खूबसूरत स्केनेरी और सर्पिन तरीके के कारण सुंदर दृश्य प्रस्तुत करता है। पतरातू डैम को यह डैम को तीनों ओर से घेरे रखता है।
प्राचीन धार्मिक मूल्यों के लिये प्रचलित है पंचवाहिनी मंदिर
पतरातू डैम के पास ही एक पंचवाहिनी मंदिर स्थित है। यह अपने प्राचीन धार्मिक मूल्यों के लिये जाना जाता है।और लोगों के आस्था का केंद्र भी है। पर्यटक प्रकृति का आनंद लेते हुए यहा मां पंचवाहिनी मंदिर में पूजा-अर्चना भी करते हैं। वैसे तो पतरातू डैम में पर्यटन विभाग की तरफ से आधुनिक बोट मुहैया कराई जाती हैं, लेकिन अब यहां पर स्थानीय नाविकों की ओर से भी ये सुविधा मिलने लगी है। स्थानीय नाविक अपनी बोट को बेहद खूबसूरच तरीके से सजाकर रखते हैं, जिससे सैलानियों को लगता है कि वो पतरातू डैम में नहीं बल्कि कश्मीर की डल झील में से सैर कर रहे हैं।
पतरातू की सैर के लिये कौन सा मौसम है बेस्ट ?
डैम के किनारे रेस्टोरेंट और होटल भी हैं, जहां आप अपना मनपसंद खाना भी खा सकते हैं। पतरातू घाटी में गर्मी और ठंड के मौसम का अच्छा अनुभव ले सकते हैं। हालांकि आप यहां साल के किसी भी समय घूमने के लिए जा सकते हैं, क्योंकि इस घाटी को गर्मियों और सर्दियों दोनों में देखने का अपना अलग ही मजा है। अक्टूबर और मार्च के महीनों के बीच घाटी का सबसे अच्छा समय माना जाता है, इस दौरान तापमान ठीक रहता है।
कैसे पहुंचे पतरातू घाटी ?
फ्लाइट के जरिये आप रांची के बिरसा मुंडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट पहुंचकर पतरातू की ओर रुख कर सकते हैं। रांची से पतरातू की दूरी करीब 50 किमी है। इसे आप एयरपोर्ट पहुचने के बाद टैक्सी के जरिये भी कवर कर सकते हैं। या फिर पतरातू के लिये सीधा बस पकड़ सकते हैं।
रेलवे मार्ग के जरिये आप सबसे पहले रांची रेलवे स्टेशन पहुंचे। इसके बाद आप बस या टैक्सी लेकर सीधा पतरातू की तरफ रवाना हो सकते हैं।
वहीं बस से आप रामगढ़ या रांची आते हैं तो आपको बस अड्डे पर उतरकर टैक्सी या बस सीधे पतरातू के लिये मिल जायेगा।