L19 DESK : इंडिया एनर्जी वीक-2025 (IEW 2025) के चौथे दिन, विद्युत मंत्रालय के तहत सार्वजनिक उपक्रमों के संयुक्त उद्यम एनर्जी एफिशिएंसी सर्विसेज लिमिटेड (EESL) ने दामोदर वैली कॉरपोरेशन (डीवीसी) के साथ एक समझौता ज्ञापन (MOU) पर हस्ताक्षर किए. इस रणनीतिक साझेदारी का उद्देश्य डीवीसी की डीकार्बोनाइजेशन पहलों का समर्थन करना और ऊर्जा दक्षता, नवीकरणीय ऊर्जा, ई-मोबिलिटी और संसाधन संरक्षण में सहयोग को बढ़ावा देना है.
दऱअसल, ईईएसएल अपनी तकनीकी विशेषज्ञता और नवीन व्यवसाय मॉडल का लाभ उठाते हुए, डीवीसी को विभिन्न ऊर्जा दक्षता और स्वच्छ ऊर्जा कार्यक्रमों को क्रियान्वित करने और लागू करने में सहायता करेगा. यह साझेदारी औद्योगिक और सौर स्ट्रीट लाइट सहित स्ट्रीट लाइट्स नेशनल प्रोग्राम (एसएलएनपी) के कार्यान्वयन पर ध्यान केंद्रित करेगी.
यह कार्यक्रम ऊर्जा-कुशल उपकरणों जैसे कि उच्च दक्षता वाले पंखे, एयर कंडीशनर, चिलर और औद्योगिक लाइटिंग प्रणालियों के उपयोग को बढ़ावा देगा, जिससे भवनों में ऊर्जा की खपत कम होगी. साथ ही, औद्योगिक ऊर्जा दक्षता के उन्नत समाधान पेश किए जाएंगे और विकेंद्रीकृत सौर परियोजनाओं का विस्तार किया जाएगा, जिसमें सोलर रूफटॉप, सोलर कारपोर्ट और सोलर ट्री इंस्टॉलेशन जैसी तकनीकें शामिल होंगी. इसके अतिरिक्त, हाइब्रिड थर्मल सौर तकनीकों को भी बढ़ावा दिया जाएगा ताकि ऊर्जा दक्षता को और अधिक प्रभावी बनाया जा सके.
इस सहयोग का उद्देश्य इलेक्ट्रिक वाहनों के उपयोग को बढ़ावा देना है, जिसमें इलेक्ट्रिक कारें, बसें और साइकिलें शामिल हैं. इसके साथ ही, ईवी चार्जिंग नेटवर्क के विस्तार पर भी ध्यान दिया जाएगा. स्मार्ट मीटरिंग तकनीक के माध्यम से ऊर्जा प्रबंधन को सुदृढ़ किया जाएगा, और ट्राईजनरेशन परियोजनाओं को बढ़ावा देकर ऊर्जा दक्षता सुनिश्चित की जाएगी.
नेशनल मोटर रिप्लेसमेंट प्रोग्राम (एनएमआरपी) के ज़रिये, पुरानी मोटरों की जगह नई, ऊर्जा बचाने वाली मोटरें लगाई जाएंगी, और बेहतर संचालन के लिए ऊर्जा-कुशल पंप भी लगेंगे, साथ ही, ऊर्जा की बचत के लिए पूरी जांच की जाएगी और ज़रूरी कदम उठाए जाएंगे.
ईईएसएल डीवीसी के विभिन्न स्थानों पर स्वच्छ ऊर्जा परियोजनाओं का संचालन करेगा, जिसमें ऊर्जा दक्ष ग्रीन बिल्डिंग और कार्बन वित्तीय योजनाएं शामिल होंगी. ग्रिड की स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए मांग प्रबंधन के तहत मांग उत्तरदायित्व समाधान पेश किए जाएंगे.
यह सहयोग सतत ऊर्जा उपयोग को बढ़ावा देने के लिए खाना पकाने में स्वच्छ समाधान प्रदान करने में मदद करेगा. बैटरी ऊर्जा भंडारण प्रणालियों को लागू किया जाएगा, जिनमें कम अवधि के लिए (लिथियम-आयन फॉस्फेट) और लंबी अवधि के लिए (जिंक इलेक्ट्रोलाइट) ऊर्जा भंडारण तकनीकें शामिल होंगी.
संसाधनों के प्रभावी उपयोग के लिए क्रय सेवाओं को सुव्यवस्थित किया जाएगा, और विभिन्न परियोजनाओं के सुचारू कार्यान्वयन हेतु प्रबंधन व परामर्श सेवाएं उपलब्ध कराई जाएंगी. सीएसआर पहलों के अंतर्गत सतत विकास और समुदाय-केंद्रित कार्यक्रमों को प्राथमिकता दी जाएगी, वहीं प्रशिक्षण और ज्ञान साझा करने के माध्यम से क्षमता निर्माण को मजबूत किया जाएगा.
डीवीसी के अध्यक्ष, सुरेश कुमार ने इस मौके पर कहा, “हम डीकार्बोनाइजेशन के अपने लक्ष्यों की तरफ बढ़ रहे हैं, और ईईएसएल के साथ मिलकर काम करके हम अपनी ऊर्जा बचाने के तरीकों को और बेहतर बना पाएंगे. साथ ही, डीवीसी के सभी इलाकों में साफ ऊर्जा के समाधानों को लागू करने में भी ये साझेदारी बहुत मददगार साबित होगी.”
ईईएसएल के सीईओ, विशाल कपूर ने कहा, “यह सहयोग भारत में ऊर्जा दक्षता को बढ़ावा देने और स्वच्छ ऊर्जा की ओर तेजी से बढ़ने की हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाता है. डीवीसी के साथ मिलकर, हमारा उद्देश्य ऐसे उन्नत ऊर्जा दक्षता कार्यक्रमों को लागू करना है, जो एक हरित और सतत भविष्य की दिशा में सहायक सिद्ध होंगे.”
यह समझौता ज्ञापन (MOU) ईईएसएल और डीवीसी की साझा दृष्टिकोण को दर्शाता है, जिसका उद्देश्य एक सतत और ऊर्जा-कुशल पारिस्थितिकी तंत्र का निर्माण करना है, जो भारत के व्यापक ऊर्जा परिवर्तन लक्ष्यों के अनुरूप है.
ऊर्जा दक्षता सेवा लिमिटेड (EESL) के बारे में
एनर्जी एफिशिएंसी सर्विसेज लिमिटेड (ईईएसएल) एक दक्ष ऊर्जा सेवा कंपनी (ईएससीओ) है, जो उपभोक्ताओं, उद्योगों और सरकारों को ऊर्जा कुशल तकनीकों के माध्यम से उनकी ऊर्जा आवश्यकताओं का कुशल प्रबंधन करने में सहायता करती है. ईईएसएल विभिन्न क्षेत्रों जैसे कि प्रकाश व्यवस्था, भवन निर्माण, औद्योगिक क्षेत्र, इलेक्ट्रिक मोबिलिटी, स्मार्ट मीटरिंग और कृषि में दुनिया का सबसे बड़ा ऊर्जा दक्षता कार्यक्रम संचालित कर रही है. ईईएसएल के प्रयासों से भारत को प्रतिवर्ष 47 अरब किलोवाट घंटा से अधिक ऊर्जा की बचत हुई है और 36.5 मिलियन टन कार्बन उत्सर्जन में कमी आई है.
2009 में स्थापित इस कंपनी को भारत सरकार के विद्युत मंत्रालय द्वारा प्रमोट किया गया है और यह एनटीपीसी लिमिटेड, पावर फाइनेंस कॉरपोरेशन लिमिटेड, आरईसी लिमिटेड और पावरग्रिड कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड के संयुक्त उपक्रम के रूप में कार्य कर रही है. ईईएसएल नवाचार पर केंद्रित है और सरकार से किसी भी प्रकार की वित्तीय सहायता नहीं लेती है.