L19/Ranchi : झारखंड के कुख्यात गैंगस्टर अमन श्रीवास्तव को कड़ी सुरक्षा के बीच आज यानि गुरुवार को रांची सिविल कोर्ट में हाजिर किया गया। बता दें की झारखंड और मुंबई एटीएस के संयुक्त प्रयास के बाद अमन को मुंबई से गिरफ्तार किया गया था। जिसके बाद बुधवार को उसे रांची लाया गया। कोर्ट ने उसे न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। अमन को बिरसा मुंडा जेल ले जाया गया है।
गौरतलब है की धनबाद सहित आसपास के 6 जिलों में बीते एक दशक से अमन आतंक बना हुआ था। गैंगस्टर अमन श्रीवास्तव के खिलाफ हत्या, हत्या का प्रयास, रंगदारी, धमकी और अपहरण के 23 मामले दर्ज है। बताया जाता है कि एटीएस ने अमन को फेस डिटेक्शन तकनीक की मदद से पकड़ा। वह मुंबई से सूरत भागने की तैयारी में था।
अमन श्रीवास्तव से ATS ने लंबी पूछताछ की
बता दें कि अदालत में पेश करने से पहले एटीएस ने अमन श्रीवास्तव से लंबी पूछताछ की। अधिकारी उसे लेकर एयर एशिया के विमान से बुधवार को रांची एयरपोर्ट पहुंची थी। इसके बाद उसे सीधा एटीएस कार्यालय ले जाया गया। बताया जाता है कि पूछताछ के दौरान गैंगस्टर अमन पिता की हत्या की बात दोहराता रहा। बताता रहा कि कैसे उसके निर्दोष पिता की हत्या कर दी गई जिसके बाद वह अपराध में आया। गौरतलब है कि 2 जून 2015 को वर्चस्व की लड़ाई में अमन श्रीवास्तव के पिता सुनील श्रीवास्तव की हत्या कर दी गई थी। उस समय अमन दिल्ली में वकालत की पढ़ाई करता था।
अमन के लिए लड़कियां भी वसूलती थी रंगदारी
पूछताछ के दौरान यह खुलासा हुआ है कि अमन श्रीवास्तव के लिए रंगदारी वसूलने का काम लड़कियां भी करती थी। करीब आधा दर्जन लड़कियां श्रीवास्तव गिरोह के लिए रंगदारी वसूलती थी। धनबाद के अलावा रामगढ़, चतरा, लातेहार, लोहरदगा और हजारीबाग में कोयला कारोबारी और व्यवसायियों में अमन श्रीवास्तव का खौफ था। वह पुलिस के लिए सिरदर्द बना हुआ था। पुलिस को लंबे समय से अमन श्रीवास्तव की तलाश थी। पता चला है कि अमन किसी भी एक ठिकाने पर एक रात से ज्यादा नहीं रहता था। जिस भी फोन से रंगदारी मांगता उसे वहीं छोड़ देता। ऐसा इसलिए करता था ताकि पुलिस को उसकी लोकेशन ना मिल सके ।