L19/दीपक कुमार : झारखंड का साहेबगंज जिला पिछले कई वर्षों से चर्चित रहा है। यहीं से मुख्यमंत्री के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा आते हैं। जिले में 1 हजार करोड़ का अवैध खनन घोटाला हुआ है। अब जनजातीय कल्याण आयुक्त कार्यालय में भी एक शख्स सुनील कुमार सिंह धमाचौकड़ी कर रहे हैं। पांच महीने से सबकी नाकों में दम कर रखा है। ये साहेबगंज में समेकित जनजातीय विकास अभिकरण (आइटीडीए) के परियोजना निदेशक हैं।
पर कल्याण सचिव के श्रीनिवासन इन पर इतने मेहरबान हो गये, कि इन्हें जनजातीय कल्याण आयुक्त के कार्यालय में उप निदेशक बना दिया गया। इनके लिए टड्ब्ल्यूसी के दफ्तर का 206 नंबर कमरा आवंटित है, जो जनजातीय कल्याण आयुक्त की बगल में है। यहीं से ये सभी को चक्कर घिन्नी की तरह नचा रहे हैं।
कार्मिक विभाग को नहीं दी गयी जानकारी, सीधे अपने स्तर से कर दिया नोटिफिकेशन
कल्याण सचिव के आदेश पर विभाग की ओर से 2 दिसंबर 2022 को अधिसूचना तक जारी कर दी गयी कि सुनील कुमार सिंह अपने कार्यों के अतिरिक्त जनजातीय कल्याण आयुक्त कार्यालय में उप निदेशक के पद पर रहेंगे। यानी, जनजातीय कल्याण आयुक्त के पहले सभी तरह की संचिकाओं का अवलोकन करेंगे।
सूत्र बताते हैं कि आइटीडीए परियोजना निदेशक का पद संयुक्त सचिव स्तर का है, पर जनजातीय कल्याण आयुक्त कार्यालय का उप निदेशक का पद उप सचिव स्तर का। इन्होंने अपनी पोस्टिंग निम्न पद पर करा कर कार्मिक, प्रशासनिक और राजभाषा सुधार विभाग को भी ठेंगा दिखा दिया है। नियमतः इनकी पोस्टिंग कार्मिक विभाग से ही होनी चाहिए थी। पर कल्याण सचिव की मेहरबानी से सीधे पैरेंट विभाग ने ही पोस्टिंग कर दी। अभी ये साइकिल वितरण की निविदा को मैनेज कर रहे हैं।
गुणों के माहिर फिलहाल 480 करोड़ की साइकिल खरीद की निविदा को निबटाने में हैं जुटे
3 साल से झारखंड की बेटियों को सरकार की तरफ से साइकिल नहीं मिली है। पहले कोरोना का हवाला सरकार की तरफ से दिया गया। पूर्ववर्ती रघुवर दास सरकार की ओर से बनायी गयी साइकिल खरीद को लेकर डीबीटी करने की प्रक्रिया को समाप्त कर दिया गया। अब सीधे साइकिल खरीद कर सरकार बालिकाओं को देगी, जो आठवीं से दसवीं कक्षा में अध्य्यनरत हैं। साइकिल का यह खेल 480 करोड़ का है। एक साइकिल की खरीद 45 सौ रुपये में की जानी है। पर हीरो, हरक्यूलिस, ए-1 की जगह कोहिनूर, एसके बाइक और नीलम जैसी कंपनियों के साथ नेगोशिएशन हो रहा है। हो भी क्यों नहीं, बड़े कमीशन की बात है।
सुनील कुमार सिंह इस लायजनिंग को काफी सलीके से निभा रहे हैं। जल्द ही मेहनत रंग लायेगी। इनके आने से सरकार की ओर से 135 स्कूलों में हाई मास्ट लाइट लगवाया जा रहा है। एक हाई मास्ट लाइट की कीमत 7.77 लाख के आसपास है। बताया जाता है, आइटीडीए साहेबगंज के परियोजना निदेशक के पद पर इन्होंने महीनों तक योगदान नहीं दिया था। कार्मिक विभाग की तरफ से इन्हें पनिशमेंट भी दी गयी। पर इस पर किसी ने कार्रवाई नहीं की।
रिपोर्ट : दीपक कुमार