भाजपा ने गोगो दीदी योजना लागू करने की बात तो कह दी, चुनाव से पहले मईंया दीदी लोग को पैसा फेंकने का वादा तो कर दिया, लेकिन झारखंड की जनता का जो बकाया पैसा मोदी जी दबा के बैठे हुए हैं, उसका क्या? और बकाया पैसा इतना ज्यादा है, कि गोगो दीदी योजना हो, चाहे, कोई और योजना, इसके बाद भी ये पूरा नहीं होगा। जानते हैं कितना बकाया है ? 1 लाख 36 हजार करोड़ रुपया। आप और हम ठहरे गरीब, इतना पैसा कभी आज तक देखे भी नहीं होंगे, और इतना पैसा मोदी जी दबा के रखे हुए हैं। और आज इनके ही पार्टी के नेता, हिमंता बिस्वा सरमा, जो दूसरे राज्य के मुख्यमंत्री हैं, वो झारखंड आकर घोषणा करते हैं कि यहां की जनता को मईंया योजना से भी ज्यादा पैसा देंगे, अगर हेमंत सोरेन 18 साल से 50 साल की मईंया दीदी लोग को महीने महीने हजार रुपया दे रहे हैं, तो हम बच्ची के पैदा होने के साथ ही मां और बेटी दोनों को सम्मान के तौर पर पैसा बांटेगे। इसको तो हम अभी से ही शुरु करेंगे, अक्टूबर से ही इसके लिये भाजपा कार्यकर्ता घर घर जाकर फॉर्म भराकर कंपलीट करेंगे, ताकि भाजपा की सरकार बनते ही मईंया दीदी लोग को इसका लाभ मिलने लग जाये। और केवल गोगो दीदी योजना नहीं लायेंगे, बल्कि हेमंत सरकार की तरह फूलो झानो के नाम से योजना लायेंगे, और दीदी बहनों का सत्यानाश करेंगे, माफ कीजियेगा कल्याण करेंगे। और तो और हिमंता ने ये भी बताया कि प्रधानमंत्री मोदी जी ये दोनों योजना के साथ साथ कुल मिलाकर 7 योजना केवल और केवल झारखंड की जनता के लिये लेकर आयेंगे, और इन योजनाओं के लिये केंद्र सरकार अपना अंशदान राज्य सरकार को भी देगी। केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी गोड्डा में सभा के दौरान ऐलान कर दिया कि भाजपा की सरकार बनी, तो लाडली बहनों को हर महीने 2100 रुपये मिलेंगे। और भैया, भाजपा के नेताओं ने तो ये भी कह दिया है कि ये सब योजना को हम अपने घोषणापत्र में भी शामिल करेंगे, इसी के आधार पर झारखंड में विधानसभा का चुनाव लड़ेंगे, आपसे वोट मांगेगे। लेकिन जब ये नेता आपसे वोट मांगने आये, तो इनसे जरूर पूछियेगा कि मोदीजी वो लाखों करोड़ों का बकाया पैसा ब्याज के साथ कब वापस कर रहे हैं ? मोदी जी वही पैसा दे देते तो भी काफी था। गोगो दीदी फूलो झानो फलाना ढिमकाना जैसा योजना का हवाबाजी करने का जरूरत नहीं था। हिमंता बिस्वा सरमा तो ये भी कहते हैं कि हेमंत सोरेन और कल्पना सोरेन मईंया योजना के जरिये झारखंड की भोली भाली जनता को बेवकूफ बना रहे हैं। तो भाईसाहब, आप क्या कर रहे हैं, आपके मोदी जी ने तो झारखंड का लाखों करोड़ों का पैसा दबा कर रखा हुआ है, और फिर आप मईंया दीदी लोगों को पैसा बांटने का बात कर रहे हैं। मतलब समझ रहे हैं, मेरी बिल्ली हमी से म्याउं। वैसे आप इतने देर से सोंच रहे होंगे कि हम ये कौन से 1 लाख 36 हजार करोड़ रुपये के बकाये पैसे की बात कर रहे हैं ? तो आपको बता दें कि इसमें कोल कंपनियों के द्वारा जमीन अधिग्रहण के बदले भूमि मुआवजा शामिल है, जो कि नहीं मिला है। और ये कोल कंपनियां केंद्र सरकार के अंतर्गत हैं। इसके साथ साथ, धुले हुए कोयले की रॉयल्टी का बकाया भी शामिल है। वहीं, mines & minerals development regulation act यानि mmdr के उल्लंघन से coal companies पर बकाया राशि समेत अन्य राशि भी शामिल है। इसको लेकर मुख्यमंत्री रहते हेमंत सोरेन ने कितनी बार मोदी जी को पत्र लिखा, उनसे मुलाकात भी की, यही नहीं, पीएम ऑफिस, वित्त मंत्रालय, नीति आयोग, सभी जगह कोशिश की, लेकिन इसके बावजूद केंद्र सरकार झारखंड का बकाया पैसा देने को तैयार नहीं है। एक बार फिर से हेमंत सोरेन ने पीएम मोदी को पत्र लिखकर बकाया पैसा चुकाने को कहा, उन्होंने पत्र में लिखा है कि झारखंड के खनिजों का दोहन कर कंपनियां मुनाफा कमा रही हैं, पर बकाया का भुगतान नहीं कर रही हैं। जब झारखंड की बिजली कंपनी के स्तर से डीवीसी को बकाया भुगतान में थोड़ी देरी हुई, तब झारखंड के आरबीआई खाते से 12 प्रतिशत की दर से ब्याज वसूला गया। इस आधार पर बकाया भुगतान की नीति में अंतर है। यह अंतर बकाया जो हमें देना है, और हमें लेना है, इन दोनों में कितना विरोधाभास है। यह मनमानी है जो राज्य को बहुत ही वंचित स्थिति में डालता है।
जिस तरह झारखंड राज्य बिजली बोर्ड के साथ डीवीसी के बकाया मामले में हुआ था, उसी तरह रिजर्व बैंक में कोल इंडिया के खाते में जमा राशि से झारखंड को सीधे डेबिट कराया जाये। जबतक बकाया का भुगतान नहीं हो जाता, कोल इंडिया और उसकी सहायक कंपनियों से ब्याज का भुगतान कराया जाये। इस पत्र में खनन रॉयल्टी पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का हवाला भी दिया गया है। दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने हाल के दिनों में झारखंड सरकार के पक्ष में फैसला सुनाते हुए केंद्र सरकार को झारखंड के बकाया पैसों का जल्द से जल्द भुगतान करने का निर्देश दिया है। लेकिन इसके बावजूद अब तक इस आदेश को नहीं माना गया।
हेमंत सोरेन का कहना है कि बकाये पैसों का भुगतान रुके होने के कारण राज्य की सामाजिक आर्थिक स्थितियों में, infrastructure और नीतियों में सुधार नहीं हो पा रहा है। राज्य की जनता का नुकसान हो रहा है। इसलिये जल्द से जल्द केंद्र सरकार इसका भुगतान कर दे। हेमंत सोरेन ने तो बीते दिनों सरकार आपके द्वार कार्यक्रम के दौरान ये भी कह दिया था कि अगर केंद्र सरकार झारखंड का बकाया पैसा चुका देती, तो वह मईंया योजना की राशि डबल कर देते। मतलब प्रतिमाह 1 हजार रुपये से दो हजार कर देते, और मईंया दीदी लोग को सालाना 12 हजार की जगह 24 हजार रुपया मिलता।
लेकिन मोदी जी तो वो पैसा ही दबाये बैठे हैं। शायद वही सब पैसा का use अपने नेताओं के प्रचार प्रसार और सुरक्षा के लिये औऱ नेताओं को उधर से इधर करने के लिये कर रहे हैं। तो मोदीजी आपसे आग्रह है कि झारखंड का बकाया पैसा दे दीजिये, ताकि मईंया दीदी लोगों को हर महीने 2-2 हजार रुपया मिल सके। तो, दीदी मईंया सब, मंजूर है न? इसका जवाब हमको कमेंट करके जरूर बताइये। अगर आपको ये जानकारी अच्छी लगी हो,
भाजपा ले के आएगी गोगो दीदी योजना
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