L19/Ranchi : झारखंड मत्रिमंडल की बैठक में पुरानी पेंशन योजना के दायरे में विधानसभा के पूर्व सदस्य, राज्य सरकार के निगम, बोर्ड के कर्मी, सेवानिवृत कर्मी, विश्वविद्यालय, अंगीभूत महाविद्यालयों के कर्मी और सेवानिवृत कर्मियों, भारत सरकार के अधीनस्थ अधिकारी अथवा रीटायर्ड कर्मियों को शामिल करने की मंजूरी दी गयी। कैबिनेट की बैठक में जेबीवीएनएल में एक स्वतंत्र निदेशक एपायंट करने की मंजूरी दी गयी। यह केंद्र सरकार के निर्देश के अनुरूप किया गया है। कैबिनेट की बैठक में झारखंड सहकारिता प्रसार पदाधिकारी (भरती और प्रोन्नति नियमावली) में संशोधन किया गया है।
झारखंड बाल विकास पदाधिकारी भरती एवं सेवाशर्त नियमावली में भी संशोधन को मंजूरी दी गयी। संविदा के आधार पर कार्यरत कर्मियों को मातृत्व अवकाश दिया जायेगा। जितना सरकारी कर्मी को मिलता है, उतना ही अवकाश संविदा कर्मियों को दिया जायेगा। एक साल में 80 दिनों तक की छुट्टी दी जा सकती है। पुरानी पेंशन योजना का चयन करने के बाद जो एनपीएस से ओपीएस का विकल्प दिये हैं, उन्हें पेंशन योजना का लाभ कैसे मिलेगा। इसकी रूपरेखा तैयार किया गया है। वित्त विभाग के प्रस्ताव में अनियमित रूप से कार्यरत कर्मियों के सेवा नियमित करने को मंजूरी दी गयी है। ऐसे 29 कर्मियों को नियमित किया गया है। सी-डैक की ओर से संचालित साइबर सिक्युरिटी परियोजना को विस्तार दिया गया है।
योजना 2017-18 में स्वीकृत की गयी थी, जिसकी लागत 88.14 करोड़ थी। उसकी समय-सीमा समाप्त हो गयी है, जिसे तीन वर्षों का अवधि विस्तार दिया गया है। इस योजना की प्राक्कलित राशि को भी संशोधित कर दिया गया है। राज्यकर्मियों और सेवानिवृत कर्मियों को स्वास्थ्य बीमा का लाभ दिया जायेगा। राज्य कर्मियों को एक हजार रुपये का मेडिकल एलावेंस प्रति माह दिया जाता था। अब इसे पांच सौ रुपये दिये गये हैं। छह हजार रुपये बीमा कंपनी को दिया जायेगा। बीमा का कवरेज पांच लाख रुपये तक होगा। पांच लाख का व्यय होने पर कारपोरेट कारपस फंड से भुगतान किया जायेगा। यह सुविधा भुगतान के आधार पर दिया जायेगा। यह सभी पूर्व माननीय़ विधानसभा सदस्यों को भी सुविधा दी जायेगी।
अखिल भारतीय स्तर के कर्मियों, राज्य सरकार के बोर्ड निगम कर्मियों, सेवानिवृत कर्मियों, विश्वविद्यालय तथा अंगीभूत महाविद्यालय में कार्यरत कर्मियों तथा रीटायर्ड कर्मियों को इसके दायरे में लाया गया है। राज्य भर के आइटीआइ के पाठ्यक्रम को डायरेक्टर जनरल ऑफ ट्रेड एपरेंटिस सेवा से किया जाता है। अब ऑनलाइन काउंसेलिंग और एडमिशन की सुविधा झारखंड सरकार खुद तय करेगी। ज्ञानोदय योजना के तहत राज्य के सरकारी बच्चों के लिए सूनो बच्चों आदिवासी संघर्ष के नायक शिबू सोरेन की गाथा, दिशोम गुरू शिबू सोरेन और ट्राइबल हीरो शिबू सोरेन नामक पुस्तकों को पढ़ने के लिए दिया जायेगा।
झारखंड स्टेट आरोग्य सोसाइटी के सहयोग से मुख्यमंत्री गंभीर बीमारी उपचार योजना के तहत किया जायेगा। इसमें 10 लाख रुपये तक विभाग से स्वीकृति दी जाती थी। 10 लाख रुपये से उपर के इलाज के खर्च की स्वीकृति के लिए कैबिनेट की स्वीकृति लेनी पड़ती थी। आतंकवाद निरोधी दस्ता (एटीएस) में संगठित अपराध को शामिल करने का निर्णय लिया गया। रांची में नवगठित अंतरिम मोटरयाहन दुर्घटना दावा न्यायाधीकरण को और सशक्त किया जायेगा। शहरी क्षेत्र में रहनेवाले आम जनता को उनकी जमीन पर वृक्ष लगाने पर पांच यूनिट बिजली मुफ्त दी जायेगी। यह पांच वर्षों तक लागू रहेगी। झारखंड औद्योगिक क्षेत्रीय विकास प्राधिकार में 10 बराबर हिस्सों में भूमि खरीदने पर सुविधा दी जायेगी।
जल संसाधन विभाग के प्रस्ताव में राज्य सरकार के जलीय आंकड़ों को एक समर्पित संगठन के रूप में स्टेट वाटर इंफोरमेटिक्स सेंटर की स्थापना की जायेगी। यह सेंटर राज्य स्तरीय होगा। झारखंड के मेडिकल कालेजों की देखरेख के लिए झारखंड मेडिकल साइंस यूनिवर्सिटी का गठन किया जायेगा। इसका निर्णय आज कैबिनेट की बैठक में लिया गया। महगामा शहरी जलापूर्ति योजना 89 करोड़ में पूरी की जायेगी।