L19 DESK : बीते 2 अक्टूबर को बिहार सरकार ने जाती आधारित गणना के सर्वे के आकंडे जारी किए गए थे। इसका पहला भाग ही जारी किया गया है। ऐसे उम्मीद जाताई जा रही है की जल्द ही दूसरी रिपोर्ट भी जारी किया जाएगा। जिसमे जातिगत स्थिति के बारे मे बताया जाएगा साथ ही आर्थिक- सामाजिक स्थिति का पूरा ब्यूरा दिया जाएगा। इसके अलावा शैक्षणिक एवं सामाजिक समृद्धि के बारे में भी बताया जाएगा।
दूसरी रिपोर्ट में समाज के किस वर्ग की क्या स्थिति है इसका पूरा विवरण दिया जाएगा। जिसके तहत ये पता चल सकेगा कि किस किस जाति के लोगों के पास कैसा घर है। वह पक्के मकान में रहते हैं या कच्चे मकान में। कौन किराए में रह रहा है किसके पास आपना निजी घर है। किसके पास गाड़ी, इंटरनेट जैसी सुविधाएं अधिक हैं। किस जाति विशेष के पास इन सुविधाओं की कमी है।
राज्य में भिखारियों की संख्या कितनी है, कचरा चुनने वालों की क्या स्थिति है, छोटे-मोटे काम करके गुजर-बसर करने वालों की संख्या कितनी है। यह सब जानकारी दूसरी रिपोर्ट में सामने आएगी। साथ ही अलग-अलग जातियों की महिलाओं की सामाजिक-आर्थिक स्थिति क्या है। इसकी जानकारी भी अलग से दी जाएगी। अस्थायी प्रवास या राज्य के बाहर प्रवास करने वालों की संख्या राज्य में कितनी है। कृषि भूमि से संबंधित आंकड़ा भी बताया जाएगा। किस जाति के पास 50 डिसमिल तक की जमीन है। कितने लोगों के पास 5 एकड़ से अधिक जमीन है। जमीन से जुड़े 9 तरह के आंकड़े सामने आएंगे।
कृषि एवं आवासीय भूमि वालों की संख्या पता की जाएगी। अलग-अलग क्षेत्र में किस जाति के लोगों की सैलरी कितनी है। 50 हजार से अधिक कमाने वाले से लेकर शून्य से 6 हजार रुपये प्रति माह कमाने वाले के बीच 7 तरह की श्रेणी में मासिक आय के बारे में जानकारी जुटाई गई है।